– बिजली न आने से वार्डों मंे भर्ती मरीजों के साथ-साथ तीमारदारों हो रहे
परेशान
कानपुर। केस्को एमडी सेल्वा कुमारी जे ने दावा किया था कि यूपीपीसीएल ने
सितंबर माह से शहर को बिजली कटौती से मुक्त कर दिया है। लेकिन उनके द्वारा किये
गए दावे अब झूठे नजर आ रहे हैं। ये बातें हम नहीं बल्कि उर्सला व डफरिन
अस्पताल में घंटों बिजली न आने पर मरीजों व तीमारदारों ने अपने गुस्से की
भड़ास केस्को विभाग पर निकाले हुए कही। वहीं अस्पताल में बिजली नहीं आने से
आपरेशन थेटर में कई आपरेशन रुके तो ओपीडी में बिजली नहीं आने पर कई डाक्टर बीच
में ही काम को छोड़कर ओपीडी से बाहर चले गये।
शहर में केस्को विभाग द्वारा कभी किसी भी समय शहर के बिजली काटने से जहां
व्यापार ठप हो गया तो अब इसका असर अस्पतालों व नर्सिंग होम में भी दिखायी देना
लगा है। गुरुवार को करीब 12ः10 बजे पर जिला अस्पताल उर्सला व डफरिन की बिजली
कट गई। बिजली कट होने से जनरल आपरेशन थेटर व आर्थो ओटी में डाक्टर द्वारा
मरीजों का किया जा रहे आपरेशन को रोकना पड़ा। बिजली न होने पर ओपीडी में बैठे
डाक्टरों ने बीच में ही मरीजों को देखना बंद कर दिया । जिसके चलते दूर-दराज से आए
मरीजों को भी इलाज नहीं मिल सका। पूरे अस्पताल में लाइट नहीं आने से वार्डो
में भर्ती मरीजों व तीमारदारों में अफरा-तफरी मच गई। बिजली नहीं आने पर डाक्टर
अनुराग राजवंशी ने इलेक्ट्रिशीयन हरिनंदन सेे अस्पताल का जनरेटर चालू करने को
कहां, लेकिन भीषण गर्म होने के चलते जनरेटर भी ओवरहीट से ठप हो गया। जिससे
पूरे डफरिन व उर्सला अस्पताल में एक घंटे बिजली नहीं आई। वहीं बिजली न आने से
अस्पताल में होने वाली सभी जांचे व पर्चा काउंटर भी बन्द हो गया। पर्चा
काउन्टर में लगभग 120 मरीजों की लाइन लगी रहीं। जांच व डाक्टरों से इलाज नहीं
मिलने पर मरीज बिना दवा व जांच के ही वापस अपने घर चले गये। इस मामले मंे जब
निदेशक अनुराग राजवंशी से बातचीत हुई तो उन्होंने कहा कि अस्पताल में बिजली
कटौती होने से मरीजों के इलाज व आपरेशन में परेशानियां उत्पन्न हो रही है।
अस्पताल की बिजली व्यावस्था को दुरस्त रखने के लिए वह एमडी को पत्र लिखने की
बात कहीं है।
