नई दिल्ली /snn १५ वर्ष पूर्व भटक कर पाकिस्तान पहुंची मूक बधिर गीता अपने मुल्क तो आ पहुंची लेकिन अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डे पर हवाई जहाज़ से बाहर क़दम रखते ही उसकी निगाहें अपनों को तलाशती रहीं लेकिन आखिर में निराशा ही उसके हाँथ लगी क्यूंकि सहरसा के महंतो दम्पति को अपना परिवार मानने से इनकार कर दिया वहीँ दूसरी तरफ यूपी के प्रताप गढ़ जनपद निवासी रामराज गौतम ने भी गीता को अपनी बेटी बताने का दावा किया है और विदेश मंत्रालय से कमिश्नर के ज़रिये यह मांग की है की वह गीता के साथ खुद सपत्नीक dna के लिए तैयार हैं /उनका यह भी दावा है कि जब वह बिहार के एक भट्टे में मजदूरी करता था उसी समय गीता गम हो गयी थी जिसकी गुमशुदगी की रिपोर्ट आज भी सहरसा कोतवाली में दर्ज है वहीँ विदेश मंत्रालय के आधिकारिक सूत्रों का कहना है की एमस के ६ विशेषज्ञों की टीम गीता और उसके माता का DNA टेस्ट करे गी जिसकी रिपोर्ट आने में चार से पांच दिन का समय लग सकता है / विदेश मंत्री सुषमा स्वाराज ने कहा की dna रिपोर्ट के बाद ही गीता के असली मां बाप का पता चल जाए गा यदि dna सैम्पल फेल हुआ तो गीता की ज़मीदारी इंदौर की एक सामजिक संस्था को सौंप दिया जाये गा तब तक गीता के साथ पकिस्तान से आये ईदी फौन्देशन के सभी सदस्य बतौर सरकारी अतिथि के रूप में रहें गे /